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चांदी की कीमतों पर भविष्यवाणी, इतने महीनों में हो जाएगी 1.5 लाख रुपये किलो!

Silver prices Prediction: मजबूत औद्योगिक मांग, डॉलर में कमजोरी और वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच सुरक्षित निवेश का रुझान बढ़ने से आने वाले महीनों में चांदी की कीमतें ₹1.5 लाख प्रति किलोग्राम तक पहुंच सकती हैं।
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चांदी की कीमतों पर अनुमान (तस्वीर-istock)

Silver prices Prediction: मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज (MOFSL) की रिपोर्ट के अनुसार, आगामी महीनों में चांदी की कीमतें घरेलू बाजार में ₹1,50,000 प्रति किलोग्राम तक पहुंच सकती हैं। रिपोर्ट में यह संभावना मजबूत औद्योगिक मांग, कमजोर डॉलर और वैश्विक अनिश्चितताओं के कारण जताई गई है। रिपोर्ट के अनुसार, अपने पिछले लक्ष्यों को हासिल करने के बाद, हमारा मानना है कि चांदी में और भी तेजी आने की संभावना है। रिपोर्ट कहती है कि हमें उम्मीद है कि घरेलू मोर्चे पर कीमतें छह महीनों में धीरे-धीरे 1,35,000 रुपये प्रति किलोग्राम और फिर 12 महीनों में 1,50,000 रुपये प्रति किलोग्राम की ओर बढ़ेंगी, बशर्ते रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 88.5 के आसपास कारोबार करे।

अंतरराष्ट्रीय बाजार में $50 प्रति औंस तक पहुंच सकती है चांदी

कॉमेक्स (COMEX) पर चांदी की कीमतें पहले $45 और फिर तेजी के अगले चरण में $50 प्रति औंस तक पहुंच सकती हैं। रिपोर्ट का मानना है कि यह तेजी वैश्विक स्तर पर निवेशकों की रुचि और मांग में वृद्धि के चलते है। कॉमेक्स पर चांदी में इस साल अब तक 41.6 प्रतिशत की वृद्धि हुई है, जबकि सोने में 34.6 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। इसके विपरीत, लंदन मेटल्स एक्सचेंज पर तांबे जैसी आधार धातुओं में अपेक्षाकृत मामूली 14 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है।

अब तक 37% मिला रिटर्न

चांदी का मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर शानदार प्रदर्शन रहा है। साल 2025 में अब तक चांदी ने MCX पर करीब 37% का रिटर्न दिया है, जो कि सोना (34.6%) और अन्य धातुओं जैसे तांबा (14%) से बेहतर है।

चांदी को समर्थन देने वाले मुख्य कारक

रिपोर्ट में चांदी की तेजी के पीछे निम्नलिखित कारण बताए गए हैं। औद्योगिक और निवेश की दोहरी मांग, भू-राजनीतिक तनाव, प्रमुख वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में ब्याज दरों में कटौती की संभावनाएं, डॉलर में कमजोरी।

औद्योगिक मांग में तेज उछाल

न्यूज एजेंसी भाषा के मुताबिक रिपोर्ट में कहा गया है कि अमेरिका स्थित सिल्वर इंस्टिट्यूट का अनुमान है कि वर्ष 2025 में औद्योगिक मांग कुल उत्पादन का करीब 60 प्रतिशत हो सकती है, और सौर ऊर्जा, इलेक्ट्रिक वाहन और 5जी बुनियादी ढांचे जैसी हरित प्रौद्योगिकियों की मांग अगली कुछ तिमाहियों में चांदी के लिए सकारात्मक तस्वीर पेश करती रहेगी। चांदी का प्रमुख योगदान क्षेत्र है, सौर ऊर्जा (Solar Power), इलेक्ट्रिक वाहन (EV), 5G टेलीकॉम इंफ्रास्ट्रक्चर।

भारत में भी चांदी की भारी मांग

वर्ष 2025 की पहली छमाही में भारत ने 3,000 टन से अधिक चांदी का आयात किया। Silver ETFs में प्रबंधनाधीन परिसंपत्तियों (AUM) में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है। यह औद्योगिक उपयोग के साथ-साथ निवेशकों की मजबूत रुचि को दर्शाता है।

रुपया-डॉलर विनिमय दर का प्रभाव

MOFSL का अनुमान है कि यदि रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 88.5 के स्तर पर रहता है, तो चांदी की घरेलू कीमतें अगले 6 महीनों में ₹1,35,000 और अगले 12 महीनों में ₹1,50,000 प्रति किलोग्राम तक पहुंच सकती हैं।

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रामानुज सिंह author

रामानुज सिंह टाइम्स नाऊ नवभारत डिजिटल में बिजनेस डेस्क के इंचार्ज हैं। यहां वे असिस्टेंट एडिटर के तौर पर काम कर रहे हैं। वो बिहार के खगड़िया जिले के र...और देखें

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