चीन ने मुंह फेरा तो इस अहम प्रोजेक्ट के लिए बैंकों से पैसे लेने पहुंचा PAK, आखिर दोस्त से क्यों नाराज हुआ ड्रैगन?

बीजिंग में बैठक के दौरान प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ फील्ड मार्शल असीम मुनीर (बाएं) (Photo- PTI)
China-Pakistan Economic Corridor: क्या पाकिस्तान और चीन के बीच सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है? ऐसी खबरें हैं कि बीजिंग ने कराची-रोहड़ी रेलवे परियोजना (जो चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है) के लिए फंड देने से मना कर दिया है। इसके मद्देनजर, पाकिस्तान अब इस परियोजना को बचाने के लिए एशियाई विकास बैंक से धन की मांग कर रहा है।
चीन क्यों नहीं दे रहा पैसे?
द इकोनॉमिक टाइम्स के अनुसार, चीन ने धन ना देने के इस कदम के पीछे वित्तीय और सुरक्षा संबंधी चिंताओं का हवाला दिया। गौरतलब है कि चीन का यह फैसला चीनी बिजली कंपनियों के बकाया कर्ज को लेकर उसकी निराशा के बाद आया है। दरअसल, पाकिस्तान ने बिजली का बकाया नहीं चुकाया है। हालांकि, बीजिंग के लिए मुख्य चिंता पाकिस्तान में कई बुनियादी ढांचा परियोजनाओं पर काम कर रहे चीनी नागरिकों की सुरक्षा का मुद्दा भी बड़ा बना हुआ है।
भारत-चीन के संबंधों में सुधार हो रहा!
चीन द्वारा अपने बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव (BRI) के तहत बन रहे कराची-रोहड़ी रेलवे खंड को वित्तपोषित न करने का निर्णय दर्शाता है कि पाकिस्तान के साथ उसकी 'सदाबहार दोस्ती' का अब कोई ज्यादा महत्व नहीं रह गया है। दोनों देशों के बीच संबंधों में यह बदलाव ऐसे समय में आ रहा है जब चीन भारत के साथ अपने संबंधों को सुधार रहा है।
चीन के हटने से पाकिस्तान के पास पैसे की कमी
द इकोनॉमिक टाइम्स के अनुसार, चीनी अधिकारियों ने पाकिस्तान के बकाया कर्ज, खासकर चीनी बिजली कंपनियों के 1.5 अरब डॉलर के कर्ज पर निराशा व्यक्त की है, जो वह चुका नहीं पाया. इसके अलावा 2021 से पाकिस्तान में BRI परियोजनाओं पर काम कर रहे कई चीनी नागरिकों की देश में सक्रिय अलगाववादी और आतंकवादी समूहों द्वारा हत्या कर दी गई है। इसपर भी चीन चिंतित है।
मेन लाइन 1 रेलवे के कराची-रोहड़ी खंड को पहले चीन से 2 अरब डॉलर मिलने की उम्मीद थी। हालांकि, इसके लिए फंड नहीं दिया गया, जिससे पाकिस्तान को चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (CPEC) के दूसरे चरण को बचाने के लिए तत्काल धन की मांग करते हुए एशियाई विकास बैंक (ADB) का दरवाजा खटखटाना पड़ा।
अपनी सेना लगाएगा चीन?
चीन ने पाकिस्तान के फील्ड मार्शल असीम मुनीर से बातचीत में पाकिस्तान में अपने नागरिकों की सुरक्षा को लेकर भी चिंता जताई। इस साल की शुरुआत में बीजिंग ने पाकिस्तान में अपने नागरिकों की सुरक्षा के लिए अपनी सेना तैनात करने की अनुमति मांगी थी।
क्या है परियोजना?
एशियाई विकास बैंक से पाकिस्तान ने जो लोन की राशि मांगी है, उसमें कराची-रोहड़ी रेलवे खंड के 480 किलोमीटर का काम होना है। इस परियोजना की कुल लागत 6.7 अरब डॉलर होने का अनुमान है, जो कराची से पेशावर तक पूरे 1,726 किलोमीटर लंबे हिस्से को कवर करेगी।
इस रेलवे नेटवर्क को सीपीईसी का केंद्र माना जाता है और इसका इस्तेमाल माल के परिवहन के साथ-साथ खनिज-समृद्ध बलूचिस्तान प्रांत में निकाले गए खनिजों के परिवहन के लिए भी किया जाएगा। बता दें कि चीन और पाकिस्तान के बीच दरार ऐसे समय में भी देखने को मिल रही है, जब इस्लामाबाद अमेरिका के साथ अपने संबंधों को बेहतर बना रहा है।
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नितिन अरोड़ा टाइम्स नाऊ नवभारत डिजिटल में न्यूज डेस्क पर सीनियर कॉपी एडिटर के पद पर कार्यरत हैं. पिछले आधे दशक से अधिक समय से कई मीडिया संस्थानों में ...और देखें

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