स्पेस में बड़ी दिलचस्प है सनराइस और सनसेट की पहेली? शुभांशु शुक्ला एक दिन इतनी बार देखेंगे सूर्योदय और सूर्यास्त

इस वक्त शुभांशु शुक्ला के अंतरिक्ष पर जाने से एक बार फिर स्पेस की चर्चा सुर्खियों में है। अंतरिक्ष में सूर्योदय और सूर्यास्त बिल्कुल अलग होता है और धरती की तरह नहीं होता है। अंतरिक्ष में सूर्योदय और सूर्यास्त उस जगह पर निर्भर करता है कि वह पृथ्वी की रोशनी में है या उसकी छाया में। अंतरिक्ष यान तेजी से घूमने की वजह से वे बहुत जल्दी-जल्दी सूर्योदय और सूर्यास्त देखते हैं। अंतरिक्ष में दिन-रात का अनुभव बहुत ही तेज़ होता है।

दोनों होते है अलग
01 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

दोनों होते है अलग

अंतरिक्ष में सूर्यास्त और सूर्योदय का अनुभव पृथ्वी से थोड़ा अलग होता है।

अंतरिक्ष में आसमान नहीं
02 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

अंतरिक्ष में आसमान नहीं

अंतरिक्ष में सूरज कभी डूबता या उगता नहीं है क्योंकि वहां कोई हवा या आसमान नहीं है।

सूर्योदय सूर्यास्त की अलग है पहेली
03 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

सूर्योदय सूर्यास्त की अलग है पहेली

पृथ्वी पर सूर्योदय तब होता है जब सूरज जमीन के ऊपर उगता है और सूर्यास्त तब होता है जब सूरज नीचे चला जाता है

90 मिनट का दिन और रात
04 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

90 मिनट का दिन और रात

ISS पृथ्वी के चारों तरफ 28163 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार चक्कर लगाता है। जिसके कारण ISS 24 घंटे में 16 बार सूर्योदय और 16 बार सूर्यास्त का नजारा देखता है। ISS में 90 मिनट का दिन और 90 मिनट की रात होती है

ऐसे होता है सूर्यास्त
05 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

ऐसे होता है सूर्यास्त

अंतरिक्ष यान जब अंतरिक्ष यान पृथ्वी की छाया में आता है तो वहां सूरज छुप जाता है (सूर्यास्त जैसा)।

ऐसे होता है सूर्योदय
06 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

ऐसे होता है सूर्योदय

जब यान छाया से बाहर निकलता है तब सूरज दिखाई देता है (सूर्योदय जैसा)।

90 मिनट में सूर्योदय-सूर्यास्त
07 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

90 मिनट में सूर्योदय-सूर्यास्त

अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर हर 90 मिनट में पृथ्वी के चारों ओर चक्कर लगाता है, इसलिए वहां लगभग हर 90 मिनट में सूर्योदय और सूर्यास्त होता है।

यान करता है परिक्रमा
08 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

यान करता है परिक्रमा

पृथ्वी की सतह पर दिन-रात 24 घंटे में एक चक्र पूरा होता है, लेकिन अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) जैसे यान लगभग हर 90 मिनट में पृथ्वी की परिक्रमा करते हैं। इसका मतलब है कि वहां 90 मिनट में सूर्योदय और सूर्यास्त दोनों होते हैं!

सूरज हमेशा चमकदार दिखता है।
09 / 09
Image Credit : AI PHOTOS

सूरज हमेशा चमकदार दिखता है।

अंतरिक्ष में सूर्य की रोशनी कभी भी पूरी तरह से नहीं छिपती क्योंकि वहां वायुमंडल नहीं है जो रोशनी को फैलाता या छुपाता है। इसलिए सूरज हमेशा चमकदार दिखता है। लेकिन पृथ्वी की छाया में आने पर सूरज अचानक गायब हो जाता है, जो कि वहां सूर्यास्त जैसा अनुभव है।

End of Photo Gallery
Subscribe to our daily Newsletter!

© 2025 Bennett, Coleman & Company Limited