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म्यूचुअल फंड में निवेश सोच-समझकर करें, इन 10 फंड्स ने पिछले 1 साल में दिया निगेटिव रिटर्न, जानें कैसे चुनें बेस्ट स्कीम

किसी भी Mutual Fund में निवेश बिना सोच-समझे नहीं करें। फंड का प्रदर्शन, फंड मैनेजर, शार्प रेशियो आदि की जानकारी जरूर लें। सही फंड का चुनाव ही आपको शानदार रिटर्न दिलाने में मदद करता है।
म्यूचुअल फंड

म्यूचुअल फंड (IStock)

Mutual Fund मेंं निवेश को बढ़ावा देने के लिए बड़े-बड़े कैंपेन चलाए जा रहे हैं। इसका फायदा भी मिला है। SIP के जरिये म्यूचुअल फंड में निवेश तेजी से बढ़ा है। निवेश करने वालों में छोटे से लेकर बड़े शहर के निवेशक शामिल है। एफडी या पीपीएफ से हटकर म्यूचुअल फंड में निवेश बढ़ने की एकमात्र वजह मिलने वाला ज्यादा रिटर्न है। हालांकि, ऐसा नहीं है कि सभी म्यूचुअल फंड स्कीम निवेशकों को बेहतर रिटर्न ही दे रहे हैं। आज हम आपको मल्टीकैप फंड कैटेगोरी के 10 फंड बता रहे हैं, जिसने निवेशकों को निगेटिव रिटर्न दिया है। यानी निवेशकों को 1 रुपये का रिटर्न नहीं मिला है। बल्कि उल्टे नुकसान हो रहा है। हालांकि, ऐसा नहीं है कि निगेटिव रिटर्न देने वाले में सिर्फ मल्टीकैप फंड शामिल हैं। लार्ज कैप फंड, मिड कैप फंड, स्मॉल कैप फंड, कॉन्ट्रा फंड आदि ने भी निवेशकों को नुकसान कराया है।

इन 10 फंड ने 1 साल की अवधि में दिया निगेटिव रिटर्न

  1. क्वांट मल्टी कैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -14.88%
  2. टाटा मल्टीकैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -7.67%
  3. डीएसपी मल्टीकैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -3.25%
  4. आईटीआई मल्टी कैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -5.16%
  5. बैंक ऑफ इंडिया मल्टीकैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -4.20%
  6. महिंद्रा मैनुलाइफ मल्टी कैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -3.55%
  7. एचडीएफसी मल्टीकैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -4.17%
  8. कोटक मल्टीकैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -3.83%
  9. इनवेस्को इंडिया मल्टीकैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -3.43%
  10. एडलवाइस मल्टी कैप फंड - डायरेक्ट प्लान - ग्रोथ : -3.39%

किस तरह सही म्यूचुअल फंड का चुनाव करें

फंड का प्रदर्शन देखें: हमेशा म्यूचुअल फंड स्कीम के 3 साल और 5 साल के रिटर्न पर ध्यान दें। सिर्फ 1 साल के रिटर्न पर भरोसा न करें।

फंड मैनेजर का अनुभव को पता करें: अनुभवी मैनेजर का फंड स्थिर प्रदर्शन देने की संभावना अधिक होती है। इसलिए किसी भी स्कीम में निवेश से पहले फंड मैनेजर के बारे में जानकारी जरूर जुटाएं।

खर्च और फीस की तुलना करें: किसी भी फंड में निवेश से पहले Expense Ratio देखें। इसका कम होना बेहतर होता है। एक्सपेंस रेश्यो हमेशा डायरेक्ट प्लान में कम होता है।

फंड की कैटेगरी और अलोकेशन समझें: आप जिस फंड में पैसा लगाने जा रहा है, उसके फंउ का इस्तेमाल किस सेक्टर और किन कंपनियों में होगा। ये जानकारी जरूर जुटाएं। इस तरह आप सही फंड चुन पाएंगे।

रिव्यू और रिबैलेंस करें: हर 6–12 महीने में अपने फंड की समीक्षा करें। जरूरत पड़े तो फंड बदलें या रिबैलेंस करें।

फंड में निवेश से पहले इन 6 पैरामीटर को समझें

किसी फंड का कैसा रहा है प्रदर्शन और आगे की क्या है उम्मीद? इसको समझने के लिए आपको कुछ पैरामीटर की समझ जरूरी है। आज हम ऐसे ही आपको 6 पैरामीटर के बारे में बता रहे हैं।

शार्प रेशियो: जिस फंड में जितना ज्यादा शार्प रेशियो होगा, वह उतना अच्छा फंड होगा। इसका मतलब कम रिस्क में मिलेगा ज्यादा रिटर्न।

सॉर्टिनो रेशियो: यह पैरामीटर नकारात्मक वोलाटिलिटी को देखता है। अगर सॉर्टिनो ज्यादा है, तो इसका मतलब है कि फंड ने डाउनसाइड रिस्क को अच्छी तरह मैनेज किया।

ट्रेयनोर रेशियो: यह बताता है कि फंड ने बाजार से कितना बेहतर प्रदर्शन किया है। ट्रेयनोर रेशियो अच्छा है, तो फंड ने अच्छी परफॉर्मेंस दी है।

अल्फा: यह दर्शाता है कि फंड मैनेजर ने बेंचमार्क से अलग से कितना एक्स्ट्रा रिटर्न कमाया।

अप/डाउन कैप्चर रेशियो: ये बताते हैं कि फंड ने बाजार के चढ़ने (Up) या गिरने (Down) के समय कैसा प्रदर्शन किया।न कम गिरता है।

रोलिंग रिटर्न: यह लगातार समय अंतराल (जैसे 1 साल की रोलिंग, 3 साल की रोलिंग) पर रिटर्न को मापता है। जिस फंड ने लगातार अच्छा रोलिंग रिटर्न दिया, वह भरोसेमंद माना जाता है।

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आलोक कुमार author

आलोक कुमार टाइम्स नेटवर्क में एसोसिएट एडिटर के पद पर कार्यरत हैं। इलेक्ट्रॉनिक, डिजिटल और प्रिंट मीडिया में उन्हें 17 वर्षों से अधिक का व्यापक अनुभव ह...और देखें

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