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Hindi Diwas Poem Kumar Vishwas: कुमार विश्वास की इस कविता के बिना अधूरा है हिंदी दिवस, पढ़ें कोई दीवाना कहता है, कोई पागल समझता है

Kumar Vishwas Poem on Hindi diwas 2025 Koi Deewana Kehta Hai Koi Pagal Samajhta hai Lyrics: 14 सितंबर को हर साल हिंदी दिवस मनाया जाता है । इस खास दिन के मौके पर हिंदी के सम्मान और प्रोत्साहन के लिए देश में अलग अलग जगहों पर कार्यक्रमों का आयोजन होता है। देश के सबसे लोकप्रिय कवि कुमार विश्वास की इस कविता के बिना हिंदी दिवस अधूरा है।
Kumar Vishwas Hindi Diwas Poems

Kumar Vishwas Hindi Diwas Poems

Kumar Vishwas Poem on Hindi diwas 2025 Koi Deewana Kehta Hai Koi Pagal Samajhta hai Hindi Lyrics: हिंदी का साहित्य बेहद समृद्ध है और दुनिया भर में लोकप्रिय भी है। हिंदी भारत की राजभाषा भी है। यह देश में सबसे ज्यादा और दुनिया में चौथी सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा है। देश में हर साल 14 सितंबर को हिंदी दिवस मनाया जाता है। 14 सितंबर 1949 को भारत की संविधान सभा की ओर से हिंदी को राजभाषा का दर्जा दिया गया था। इस खास दिन के मौके पर हिंदी के सम्मान और प्रोत्साहन के लिए देश में अलग अलग जगहों पर कार्यक्रमों का आयोजन होता है। हिंदी ने हर किसी को जोड़ने का काम किया है जिसे इस कविता के जरिए समझा जा सकता है। हिंदी दुनिया की सरल, समृद्ध और पुरानी भाषाओं में से एक मानी जाती है। हिंदी दिवस के अवसर पर देश के सबसे लोकप्रिय, हिंदी भाषा के ख्याति प्राप्त कवि डॉ. कुमार विश्वास की इस कविता के बिना हिंदी दिवस अधूरा है। उनकी सबसे लोकप्रिय कविता आज हम आपके लिए लाए हैं।

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Hindi diwas Poems of Kumar Vishwas: हिंदी दिवस कविता

कोई दीवाना कहता है, कोई पागल समझता है !

मगर धरती की बेचैनी को बस बादल समझता है !!

मैं तुझसे दूर कैसा हूँ, तू मुझसे दूर कैसी है !

ये तेरा दिल समझता है या मेरा दिल समझता है !!

मोहब्बत एक अहसासों की पावन सी कहानी है !

कभी कबिरा दीवाना था कभी मीरा दीवानी है !!

यहाँ सब लोग कहते हैं, मेरी आंखों में आँसू हैं !

जो तू समझे तो मोती है, जो ना समझे तो पानी है !!

समंदर पीर का अन्दर है, लेकिन रो नहीं सकता !

यह आँसू प्यार का मोती है, इसको खो नहीं सकता !!

मेरी चाहत को दुल्हन तू बना लेना, मगर सुन ले !

जो मेरा हो नहीं पाया, वो तेरा हो नहीं सकता !!

भ्रमर कोई कुमुदुनी पर मचल बैठा तो हंगामा!

हमारे दिल में कोई ख्वाब पल बैठा तो हंगामा!!

अभी तक डूब कर सुनते थे सब किस्सा मोहब्बत का!

मैं किस्से को हकीक़त में बदल बैठा तो हंगामा!!

कुमार विश्वास उन कवियों में से एक हैं जो उर्दू मुशायरों में जाकर गर्व से हिंदी गीत गाते हैं और कहते हैं। वह हिंदी और ऊर्दू के लिए कहते हैं-

‘ये उर्दू बज़्म है और मैं तो हिंदी मां का जाया हूं

ज़बानें मुल्क़ की बहनें हैं ये पैग़ाम लाया हूं

मुझे दुगुनी मुहब्बत से सुनो उर्दू ज़बां वालों

मैं हिंदी मां का बेटा हूं, मैं घर मौसी के आया हूं’

Hindi Diwas 2025

हिंदी प्रत्येक भारतवासी की शान है। यह ना केवल एक भाषा है बल्कि विभिन्न धर्मों और संस्कृतियों के लोगों को एकता के सूत्र में (Hindi Diwas Essay In Hindi) पिरोती है। हिंदी भाषा नहीं भावों की अभिव्यक्ति है। हिंदी दुनिया की तीसरी सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा है। दुनियाभर में करीब 62 करोड़ लोग हिंदी बोलते हैं। वहीं साल 2011 की जनगणना के मुताबिक भारत में करीब 53 करोड़ लोग हिंदी बोलते और लिखते हैं।

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कुलदीप राघव author

प्रिंट और डिजिटल जर्नलिज्म में 13 वर्ष से अधिक का अनुभव रखने वाले कुलदीप राघव 2017 से Timesnowhindi.com से बतौर सीनियर स्पेशल कॉरेस्पोंडेंट जुड़े हैं।...और देखें

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