एक्सप्लेनर्स

म्यांमार, श्रीलंका, बांग्लादेश के बाद अब नेपाल, बीते 4 साल में तख्तापलट-बगावत की भेंट चढ़ गईं ये सरकारें

नेपाल की सरकार ने बीते दिनों फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम, यूट्यूब सहित 26 मीडिया प्लेटफॉर्मों पर बैन लगा दिया। खास बात यह है कि ओली सरकार ने यह बैन सुप्रीम कोर्ट के फैसले का पालन करते हुए लगाया लेकिन बैन का यह फैसला किशोर एवं युवा पीढ़ी को पसंद नहीं आया। वह इसके खिलाफ सोमवार को सड़कों पर उतर आई और हिंसक प्रदर्शन किया।

FollowGoogleNewsIcon

Regime change in South Asia : दक्षिण एशिया खासकर भारत के पड़ोसी देशों में राजनीतिक अस्थिरता बार-बार दस्तक दे रही है। कभी चुनी हुईं सरकारों को बदल दिया जाता है, तो कभी उनका तख्तापलट हो जाता है। व्यवस्था पत्ते की तरह बिखर जाती है। हाल के वर्षों में म्यांमार, अफगानिस्तान, श्रीलंका, पाकिस्तान, बांग्लादेश में तख्तापलट का 'खेल' देखा जा चुका है। अब इसका ताजा शिकार नेपाल बना है। जहां कथित रूप से जेनजी ने रेजीम चेंज कर दिया है। कहा जाता है कि इन देशों में लोकतंत्र की जड़ें भारत की तरह मजबूत और गहरी नहीं हैं। चुनौतियों एवं अव्यवस्थाओं का ये देश सामना नहीं कर पाते। बीते तीन चार सालों में भारत के पड़ोसी और कुछ नजदीकी पड़ोसी देशों में हुए तख्तापलट और सरकार में बदलाव यानी रिजीम चेंज के बारे में यह यहां चर्चा करेंगे।

नेपाल में 9 सितंबर को ओली सरकार का हुआ तख्तापलट। तस्वीर-AP

नेपालनेपाल की सरकार ने बीते दिनों फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम, यूट्यूब सहित 26 मीडिया प्लेटफॉर्मों पर बैन लगा दिया। खास बात यह है कि ओली सरकार ने यह बैन सुप्रीम कोर्ट के फैसले का पालन करते हुए लगाया लेकिन बैन का यह फैसला किशोर एवं युवा पीढ़ी को पसंद नहीं आया। वह इसके खिलाफ सोमवार को सड़कों पर उतर आई और हिंसक प्रदर्शन किया। इस विरोध-प्रदर्शन में कम से कम 19 लोगों की मौत हुई। मृतकों की यह संख्या गुरुवार को बढ़कर 35 तक पहुंच गई। हिंसा एवं उपद्रव को देखते हुए ओली सरकार ने सोशल मीडिया से बैन तो हटा लिया लेकिन बैन हट जाने के बाद हिंसक विरोध-प्रदर्शन बंद नहीं हुआ। अगले दिन यानी मंगलवार को यह और भी तेज हो गया।

नेपाल में अंतरिम सरकार का गठन होगा। तस्वीर-AP

कहा गया मंगलवार का हिंसक प्रदर्शन और उपद्रव भ्रष्टाचार के खिलाफ था। प्रदर्शनकारी राजधानी काठमांडू सहित कई शहरों पर उपद्रव और उत्पात मचाने लगे। चुन-चुनकर पूर्व प्रधानमंत्रियों, कैबिनेट मंत्रियों, नेताओं पर हमले हुए और उन्हें सड़क पर दौड़ाकर मारा-पीटा गया। यहां तक कि पूर्व पीएम झालनाथ खनाल की पत्नी को आग के हवाले कर दिया गया। भीड़ ने संसद और सरकारी इमारतों को फूंक दिया। यह सब देश पीएम केपी शर्मा ओली ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। नेपाल अभी सेना के हवाले है। यहां बांग्लादेश की तरह अंतिरम सरकार का गठन हो सकता है।

बांग्लादेशकरीब एक साल पहले बांग्लादेश में भी हिंसा, उत्पात, आगजनी का नेपाल जैसा ही नजारा देखने को मिला था। आरक्षण, भ्रष्टाचार, आर्थिक बदहाली और विरोधियों को दबाए जाने के खिलाफ बांग्लादेश के छात्रों ने हसीना सरकार के खिलाफ बगावत कर दी। सरकार विरोधी इस मुहिम में बाद में कट्टरपंथी तत्व भी शामिल हो गए। पांच अगस्त 2024 को प्रदर्शनकारियों ने हसीना के सरकारी आवास पर धावा बोल कर वहां जमकर उत्पात मचाया।

5 अगस्त 2024 को हसीना सरकार का हुआ तख्तापलट। तस्वीर-AP

बंग बंधु की प्रतिमा तोड़ दी। अपनी जान बचाने के लिए शेख हसीना को पीएम पद से इस्तीफा देना पड़ा और भारत में राजनीतिक शरण लेनी पड़ी। आठ अगस्त को मोहम्मद युनूस की अगुवाई में अंतरिम सरकार का गठन हुआ। यहां भी एक चुनी हुई सरकार का तख्तापलट कर दिया गया।

End Of Feed