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ISS पर मिशन में बहुत कुछ सीखा, गगनयान मिशन के लिए साबित होगा बहुत उपयोगी, बोले शुभांशु शुक्ला

एक प्रेस वार्ता में शुभांशु शुक्ला कहा कि अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन मिशन का अनुभव हमारे गगनयान मिशन के लिए बहुत उपयोगी साबित होगा, पिछले एक साल में बहुत कुछ सीखा है।

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Shubhanshu Shukla- अंतरिक्ष यात्री शुभांशु शुक्ला ने अपने एक्सिओम-4 मिशन के बारे में कहा कि अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) पर मिशन का प्रत्यक्ष अनुभव अमूल्य है और किसी भी प्रशिक्षण से कहीं बेहतर है। प्रेस वार्ता में उन्होंने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन मिशन का अनुभव हमारे गगनयान मिशन के लिए बहुत उपयोगी साबित होगा, पिछले एक साल में बहुत कुछ सीखा है। शुभांशु शुक्ला ने कहा कि बहुत जल्द, हम किसी को हमारे कैप्सूल से, हमारे रॉकेट से, हमारी धरती से यात्रा करते हुए देखेंगे।

ISS मिशन पर शुभांशु शुक्ला ने क्या-क्या कहा (ANI)

बहुत जल्द हम अपने कैप्सूल से किसी को भेजेंगे

शुभांशु शुक्ला ने कहा, मानव अंतरिक्ष मिशन को अंजाम देने का फायदा सिर्फ प्रशिक्षण से कहीं अधिक है। वहां रहकर हमें जो अतिरिक्त ज्ञान मिलता है, वह अमूल्य है। पिछले एक साल में मैंने जो भी जानकारी इकट्ठा की है, वह हमारे अपने मिशनों, गगनयान और भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन के लिए बेहद उपयोगी होगी... बहुत जल्द हम अपने कैप्सूल से, अपने रॉकेट से और अपनी धरती से किसी को भेजेंगे... यह अनुभव ज़मीन पर मिलने वाले अनुभव से बहुत अलग होता है। शरीर कई बदलावों से गुज़रता है, अंतरिक्ष में 20 दिन बिताने के बाद शरीर गुरुत्वाकर्षण में रहना भूल जाता है।

मैं मिशन पायलट था ...

ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला ने कहा, मैं भारत सरकार, इसरो और अपने सहयोगियों का धन्यवाद करना चाहता हूं... हम फाल्कन 9 यान के ऊपर उड़ान भर रहे थे... क्रू ड्रैगन उन तीन यानों में से एक है जो मनुष्यों को अंतरिक्ष में ले जा सकते हैं... इस मिशन में मेरा पद मिशन पायलट का था। क्रू ड्रैगन में चार सीटें होती हैं। मैं मिशन पायलट था और मुझे कमांडर के साथ काम करना था और क्रू ड्रैगन की प्रणालियों के साथ बातचीत करनी थी... हमें भारतीय शोधकर्ताओं द्वारा परिकल्पित, विकसित और साकार किए गए प्रयोग करने थे। और साथ ही STEM प्रदर्शन भी करने थे, फोटो और वीडियोग्राफ भी लेने थे।

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