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नौकरी बदलते ही PF का पैसा निकालते हैं? हो सकता है बड़ा नुकसान, जानिए सही तरीका

अक्सर लोग नौकरी बदलने के तुरंत बाद अपने पीएफ अकाउंट से पैसा निकाल लेते हैं। यह कदम भले ही तुरंत राहत दिला दे, लेकिन लंबी अवधि में इससे बड़ा नुकसान हो सकता है। दरअसल, पीएफ पर मिलने वाला ब्याज और कंपाउंडिंग का फायदा खत्म हो जाता है। चलिए जानते हैं सही तरीका क्या है।

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PF Withdrawal After Job Change: पीएफ अकाउंट को रिटायरमेंट प्लानिंग की सबसे सुरक्षित बचत माना जाता है। लेकिन अगर नौकरी बदलते ही पैसा निकाल लिया जाए तो टैक्स का बोझ भी बढ़ सकता है और भविष्य की फंडिंग भी घट सकती है। इसलिए पीएफ खाते को लेकर समझदारी से फैसला लेना बेहद जरूरी है। यहां हम सही तरीका बता रहे हैं कि आपको पैसा निकालना चाहिए या नहीं?

अक्सर लोग नौकरी बदलने के तुरंत बाद अपने पीएफ अकाउंट से पैसा निकाल लेते हैं। (image-istock)

पीएफ अकाउंट क्यों है खास

हर नौकरीपेशा व्यक्ति की सैलरी का 12 फीसदी हिस्सा पीएफ अकाउंट में जमा होता है, उतना ही योगदान कंपनी भी करती है। यह अकाउंट एक लॉन्ग-टर्म सेविंग टूल है, जो रिटायरमेंट तक बड़ी रकम बनाता है। जरूरत पड़ने पर आंशिक निकासी की सुविधा भी दी जाती है।

नौकरी बदलते ही पैसे निकालना क्यों नुकसानदायकअगर आप नौकरी बदलते ही पीएफ निकाल लेते हैं, तो ब्याज पर मिलने वाला कंपाउंडिंग बेनिफिट खत्म हो जाता है। उदाहरण के लिए, 10 साल लगातार जमा होने से फंड कई गुना बढ़ सकता है, लेकिन बीच-बीच में निकालने से यह रकम काफी कम हो जाती है।

टैक्स का बोझ भी बढ़ता है

5 साल पूरे होने से पहले पीएफ अकाउंट से निकासी करने पर टैक्स देना पड़ता है। यानी जल्दी पैसे निकालने पर न केवल सेविंग्स कम होती है बल्कि टैक्स की वजह से रकम और घट जाती है। यह कदम भविष्य के लिहाज से घाटे का सौदा बन जाता है।

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