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India fish production: भारत दुनिया में मछली उत्पादन में कौन-से स्थान पर है, जानें भारत का कुल मछली उत्पादन कितना है?

India fish production: भारत अब दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा मछली उत्पादक देश बन गया है। केंद्रीय मंत्री राजीव रंजन सिंह के अनुसार, 2013-14 की तुलना में अंतर्देशीय मछली उत्पादन में 142% की वृद्धि हुई है और यह 147 लाख टन तक पहुंच गया है। मत्स्य पालन क्षेत्र की औसत वार्षिक वृद्धि दर 9% है, जो कृषि से जुड़े अन्य सभी क्षेत्रों में सबसे अधिक है। सरकार की विभिन्न योजनाओं जैसे नीली क्रांति, पीएम मत्स्य संपदा योजना और एफआईडीएफ से इस क्षेत्र को मजबूती मिली है।
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मछली पालन (फाइल फोटो)

India fish production: क्या आप जानते हैं कि भारत अब मछली उत्पादन में कितना आगे निकल गया है? केंद्रीय मंत्री राजीव रंजन सिंह ने हाल ही में बताया कि भारत अब दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा मछली उत्पादक देश बन चुका है! इसमें सबसे मजेदार बात ये है कि 2013-14 से अब तक भारत में जो 'अंतर्देशीय मछली उत्पादन' है, उसमें 142% की गजब की बढ़ोतरी देखने को मिली है। यानी अब ये आँकड़ा 147 लाख टन तक पहुंच चुका है। सोचिए कितना बड़ा उछाल है ये।

उन्होंने यह बात 'अंतर्देशीय मत्स्य पालन और जलीय कृषि सम्मेलन 2025' में बताई है। इसके अलावा उन्होंने एक और दिलचस्प बात बताते हुए कहा कि मत्स्य पालन सेक्टर की औसत सालाना बढ़ोतर 9% है, जो कि बाकी सभी एग्रीकल्चर से जुड़े सेक्टर्स से ज्यादा है। मतलब, ये कि फिशरीज वाला सेक्टर भी अब धीरे-धीरे मछुआरों और ग्रामीण क्षेत्रों की कमाई और रोज़गार का बड़ा जरिया बनता जा रहा है।

मछली पालन को सरकार किन योजनाओं से कर रही सपोर्ट?
  1. नीली क्रांति
  2. प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना (PMMSY)
  3. मत्स्य एवं जलीय कृषि अवसंरचना विकास निधि (FIDF)
  4. पीएम-मत्स्य किसान समृद्धि सह योजना
  5. किसान क्रेडिट कार्ड (KCC)

राज्यों से एफआईडीएफ का बेहतर उपयोग करने की अपील

मंत्री ने राज्यों से आग्रह किया कि वे एफआईडीएफ फंड का प्रभावी उपयोग करें, आईसीएआर के साथ मिलकर क्रियान्वयन योजनाएं बनाएं और शीतजल मत्स्य पालन, सजावटी मछली पालन व खारे पानी की जलीय कृषि जैसे क्षेत्रों को बढ़ावा देकर निर्यात में इजाफा करें।

पोषण, उत्पादन और आत्मनिर्भर भारत में योगदान

राजीव रंजन सिंह ने अंतर्देशीय संसाधनों के प्रभावी उपयोग पर जोर देते हुए कहा कि इससे पोषण सुधार, उत्पादन में बढ़ोतरी, और विकसित भारत के दृष्टिकोण को साकार करने में मदद मिलेगी।

अंतर्देशीय राज्यों की प्रगति की सराहना

मंत्री ने अंतर्देशीय राज्यों द्वारा मत्स्य उत्पादन में की गई प्रगति की सराहना की और उत्पादन व उत्पादकता बढ़ाने की आवश्यकता को दोहराया।

मत्स्य किसानों की आय बढ़ाने में सहायक

राज्य मंत्री प्रोफेसर एस.पी. सिंह बघेल ने कहा कि मत्स्य पालन किसानों की आय दोगुनी करने की दिशा में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। उन्होंने विभिन्न हितधारकों द्वारा किए गए प्रयासों की सराहना की।

क्या सरकार ने मत्स्य पालन से जुड़े स्टार्टअप्स को भी बढ़ावा दिया है?

सम्मेलन में 300 से अधिक मत्स्य पालन स्टार्टअप्स को डिजिटल टूल्स, वैल्यू एडिशन और पोस्ट-हर्वेस्ट गतिविधियों के लिए समर्थन देने की बात कही गई।

राज्य मंत्री जॉर्ज कुरियन ने अंतर्देशीय मत्स्य पालन की पोषण सुरक्षा, ग्रामीण समृद्धि और स्थायी आजीविका सुनिश्चित करने में भूमिका को रेखांकित किया। उन्होंने पारंपरिक ज्ञान और नवाचार के समावेश, देशी प्रजातियों को बढ़ावा और सामूहिक भागीदारी को सशक्तिकरण की कुंजी बताया।

बीज गुणवत्ता और ब्रूड बैंक की जरूरत

मंत्रालय के सचिव डॉ. अभिलक्ष लिखी ने बताया कि उत्पादकता बढ़ाने के लिए आईसीएआर के सहयोग से उच्च गुणवत्ता वाले मत्स्य बीज की उपलब्धता सुनिश्चित करना और ब्रूड बैंक की स्थापना आवश्यक है।

आईएएनएस इनपुट के साथ

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आशीष कुशवाहा author

आशीष कुमार कुशवाहा Timesnowhindi.com में बतौर सीनियर कॉपी एडिटर काम कर रहे हैं। वह 2023 से Timesnowhindi.com के साथ जुड़े हैं। वह यहां शेयर बाजार, ...और देखें

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